दोस्तों आज में बात करने जा रहा हूँ विश्व की दूसरी बड़ी फ़ास्ट फ़ूड रेस्टोरेंट McDonald’s की जिसके ऑउटलेट्स विश्व के 119 से ज्यादा देशो में फैले हुए है. यह कंपनी हर दिन करीब 1 करोड़ बर्गर बेचती है और 70 लाख लोग इसे डेली विजिट करते है. कंपनी का प्रॉफिट आज के समय में खरबो रुपए है लकिन आपको जानकर हैरानी होगी की इतनी बड़ी कंपनी California के एक छोटे से रेस्टोरेंट से स्टार्ट हुए थी जिसे Richard and Maurice McDonald नाम के 2 भाइयो ने मिलकर 1940 में शुरू किया था लकिन McDonald’s की सफलता का पूरा श्रेय Ray Kroc को जाता है जो 1955 में इस कंपनी से जुड़े थे और जुड़ने के बाद उन्होंने कंपनी को शिखर पर पहुंचा दिया

Mcdonald'S Success Story In Hindi
Mcdonald’S Success Story In Hindi

आइये हम जानते है Ray Kroc के बारे में जानते है

Ray Kroc का जन्म 5 अक्टूबर 1902 अमेरिका के Illinois राज्य में oak park नाम की जगह पर हुआ था. वह बहुत ही गरीब परिवार में पैदा हुए थे इसलिए ही उन्होंने 15 साल की उम्र में अपने date of birth को बदल दिया और पहले विश्व युध के समय वे रेडक्रॉस ambulance के ड्राइवर बन गए लेकिन विश्व युध के खत्म होने के बाद ही उन्हें ड्राइवर का जॉब छोड़ना पड़ा और फिर उन्होंने पेपर के गिलास बेचना शुरू किया कुछ सालो तक सेल्स का काम करने के बाद Krok ने एक लोकल रेडिओ स्टेशन में पियानो बजाने का भी काम स्टार्ट किया और ऐसे ही अलग अलग काम करते हुए जीवन के लगभग 25 साल बिताएं. दूसरा विश्व यद्ध ख़तम होने के बाद krok ने रेस्टोरेंट में milkshake बनाने की मशीन बेचने का काम स्टार्ट किया और कुछ सालो तक मशीने बचने के बाद उन्होंने अपने सेल्स को analysis किया और देखा की California की एक अकेली रेस्टोरेंट ने सबसे ज्यादा 6 मशीने ख़रीदी है. kroc उस रेस्टोरेंट से बहुत ही प्रभावित थे और वे उसे विजिट करने के लिए California आये जहां उन्होंने देखा की एक छोटे से रेस्टोरेंट होने के बावजूद ग्राहको की वहा पर बहुत लम्बी लाइन लगी हुए थी दोस्तों kroc अपने milkshake की मशीन बेचने के लिए अमेरिका के बहुत सारे रेस्टोरेंट में गए हुए थे लकिन इतनी सारी भीड़ कभी भी नहीं देखी थी. kroc ने लाइन में खड़े एक आदमी से पूछा की इस रेस्टोरेंट में खास क्या है और यहां पर भीड़ क्यों लगी हुई है तो उस आदमी ने कहा यहां पर आपको सबसे अच्छा बर्गर सिर्फ 15 sent में मिलेगा और आपको ऑर्डर की डिलीवरी के लिए ज्यादा समय भी नहीं देना पड़ेगा. kroc को McDonald’s brothers का concept बहुत अच्छा लगा और उन्होंने और भी डीप में जाकर उस रेस्टोरेंट के बारे में पता किया तो उन्हें पता चला Richard and Maurice McDonald नाम के दो भाइयो ने 1940 में स्टार्ट किया तब ज्यादा सफल नहीं था 8 सालो के बाद 1948 में जब मेनू के items को हटाकर कुछ लिमिटेड items कर दिया और उन्ही 4 or 5 item पर उन्होंने अपना ध्यान केंद्रित कर दिया तभी से उन्हे सफलता मिलनी शुरू हो गयी तभी से उन्होंने अपने बर्गर और फ़ास्ट फ़ूड को बनाने के लिए मशीनों का उपयोग स्टार्ट कर दिया था. जिससे लोगो का बहुत समय बचता था इसलिए वो वहां के लोगो का पसंदीदा रेस्टोरेंट बन गया था. इन सभी बातो को जानने के बाद kroc McDonald’s brothers से मिलकर खुद के लिए उस रेस्टोरेंट की franchises लेने की बात की और तब McDonald’s brothers ने भी kroc की बात मान ली और अपना एक रेस्टोरेंट की franchises kroc को बेच दी kroc ने 15 april 1955 को Illinois के des plaines शहर में अपना पहला McDonald’s का ब्रांच खोला और देखते ही देखते उनकी अच्छी सर्विस ,कम पैसे और तेज डिलीवरी की वजह से वह रेस्टोरेंट तेजी से चल पड़ा. kroc ने और भी franchises McDonald’s brothers से लेने की बात की जिससे McDonald’s को काफी शहरो मे फैलाया जा सके लकिन McDonald’s brothers ने यह कह कर मना कर दिया की इनके पास जितने पैसे है वो काफी है और वो और काम नहीं करना चाहते और कहा की तुम्हे McDonald’s की chain को बढ़ाने का इतना ही शोक है तो तुम इस कंपनी को खरीद लो और अपने अकॉर्डिंग काम करो kroc को McDonald’s में अपना उज्वल भविष्य दिखाई दे रहा था और इसलिए उन्होंने कुछ सालो के बाद पैसा जोड़ने के बाद 1961 में कंपनी को 2.7$ और हर साल 1.9 % रॉयल्टी देकर खरीद लिया फिर क्या था kroc की मेहनत, लगन और अच्छी सर्विसेज की वजह से उनकी रेस्टोरेंट की चैन तेजी से फ़ैल गयी उन्होंने अपने देश के साथ के साथ दूसरे देशो में भी franchises दी और एक standard तैयार कर दिया जिस पर सभी रेस्टोरेंट को काम करना था 1983 में अपनी मृत्यु के पहले तक Ray kroc ने अपनी कंपनी के franchises को 31 देशो में फैला दिया था. भारत में McDonald’s का पहला franchises 13 October 1996 को vasant vihar new Delhi में खोला गया था.

दोस्तों एक गरीब घर के लड़के ने अपनी मेहनत ,लगन और असफताओं से सिख लेते हुए यह दिखा दिया अगर आपके अंदर कुछ करने का जूनून है तो इस दुनिया में असंभव कुछ भी नहीं है